बिटकॉइन किस देश की करेंसी है?

ऑस्ट्रेलिया ने भी क्रिप्टोकरेंसी को कानूनी करार दिया बिटकॉइन किस देश की करेंसी है? है. मगर देश में क्रिप्टोकरेंसी एंटी-मनी लॉन्ड्रिंग एंड काउंटर टेररिज्म फाइनेंसिंग एक्ट के तहत आती है. ऑस्ट्रेलिया भी वर्चुअल करेंसीज को प्रॉपर्टी के तौर पर मानता है और इन्हें टैक्स के दायरे से बाहर रखा गया है.
Ukraine Crisis: क्या सोने की जगह बिटकॉइन बन जाएगा सबसे सुरक्षित एसेट?
गोल्डमैन सैक्स की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि 2022 में सुरक्षित एसेट के रूप में सोने की बाजार हिस्सेदारी का काफी हिस्सा बिटकॉइन हथिया सकता है। इसकी वजह यह है कि बिटकॉइन की मान्यता दुनियाभर में बढ़ रही है।
कुछ एसेट ऐसे होते हैं जिनकी वैल्यू समय के साथ कम नहीं होती है। सोना (Gold) इसका उदाहरण है। सदियों से सोने को इनवेस्टमेंट के लिहाज से सबसे सुरक्षित माना जाता रहा है। इसकी वजह है कि किसी देश की करेंसी की तरह समय के साथ इसकी वैल्यू कम नहीं होती है। इस पर किसी करेंसी की तरह मुद्रास्फीति (Inflation) का असर नहीं पड़ता है।
किसी देश की करेंसी को कई तरह के खतरे होते हैं। इनफ्लेशन में इनमें सबसे बड़ा है। करेंसी पर दुनिया के किसी दूसरे हिस्से में होने वाली घटनाओं का बिटकॉइन किस देश की करेंसी है? भी असर पड़ता है। बहुत ज्यादा इनफ्लेशन के चलते कई देशों की करेंसी की वैल्यू में बड़ी गिरावट आ चुकी है। जिमबाब्वे और वेनेजुएला इसके उदाहरण हैं।
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बिटकॉइन में कैसे निवेश करें? How to invest in Bitcoin in Hindi 2022: यदि हम इंडिया का फाइनेंस सेक्टर का बात करें तो उसी में क्रिप्टो करेंसी शेयर बाजार जैसे प्लेटफार्म अहम भूमिका निभाता है. आज कल दिन भर दिन क्रिप्टो करेंसी का क्रेज बढ़ते ही जा रहा है.
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बिटकॉइन का मालिक कौन है?- एक और नए लेख में आपका स्वागत है. उम्मीद है कि आप हमारा पहला लेख
'Bitcoin'
इस सप्ताह की शुरुआत में बड़ी संख्या में कस्टमर्स के अपनी रकम निकालने के बाद बहामास के इस एक्सचेंज ने बैंकरप्सी के लिए फाइलिंग की थी। बड़े क्रिप्टो एक्सचेंजों में शामिल Binance ने इसे खरीदने की पहल की थी लेकिन बाद में वह पीछे हट गया था
Crypto एक्सचेंज BitMEX के पूर्व सीईओ ऑर्थर हेयस (Arthur Hayes) ने कहा है कि बिटकॉइन की कीमत 15 हजार डॉलर तक नीचे जा सकती है।
Bitcoin भी मार्केट कैप के हिसाब से पिछले 24 घंटे में 12.7 प्रतिशत गिरा है। Ethereum की मार्केट कैप में 22.3%, XRP की मार्केट कैप में 19.3% और Dogecoin की मार्केट बिटकॉइन किस देश की करेंसी है? कैप में 21.6% की गिरावट देखने को मिली है।
अब इस देश में क्रिप्टोकरेंसी को मिला कानूनी दर्जा, जानिए बिटकॉइन किस देश की करेंसी है? और कौन से देश में है ये लीगल
TV9 Bharatvarsh | Edited By: आशुतोष वर्मा
Updated on: Jun 26, 2021 | 11:23 AM
मध्य अमेरिका के देश अल सल्वाडोर में बिटकॉइन किस देश की करेंसी है? सात सितंबर से क्रिप्टोकरेंसी से जुड़े कानून लागू हो जाएंगे. देश में हालिया पास कानूनों पर लीगल टेंडर तैयार हो चुका है. देश की संसद में राष्ट्रपति नायब बुकेले की तरफ से क्रिप्टोकरेंसी को अपनाने के प्लान को मंजूरी मिल गई है. इसके बाद यह पहला देश बन गया है जहां पर बिटक्वॉइन को लीगल टेंडर के तौर पर अपनाया जाएगा. माना जा रहा है कि जल्द ही पैराग्वे भी इसे कानूनी रूप दे सकता है.
अल सल्वाडोर में महंगी हुई प्रॉपर्टी
राष्ट्रपति बुकेले ने सोमवार को ऐलान किया था कि देश की कानूनी मुद्रा बन जाने के बाद इस पर कोई कैपिटल गेन्स टैक्स नहीं लगाया जाएगा. देश में क्रिप्टो एंटरप्रेन्योर को तुरंत स्थायी तौर पर रहने की अनुमति दी जाएगी. राष्ट्रपति के इस ऐलान के बाद अल-सल्वाडोर में प्रॉपर्टी की कीमतें बढ़ गई हैं. दुनिया के कुछ देशों में बिटक्वॉइन को पहले ही बिटकॉइन किस देश की करेंसी है? कानूनी मान्यता मिल चुकी है. एक नजर डालिए ऐसे ही कुछ देशों के पर जहां पर क्रिप्टोकरेंसी लीगल है.
भारत
भारत सरकार की तरफ से क्रिप्टोकरेंसी को लेकर अभी नियम या फिर गाइडलाइंस जारी करनी हैं. लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने साल 2020 में रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (आरबीआई) के उस सर्कुलर को मानने से इनकार कर दिया था जिसमें क्रिप्टोकरेंसी पर आधारित ट्रांजेक्शन को प्रतिबंधित करने के लिए बैंकों को आदेश दिए गए थे. सुप्रीम कोर्ट के आदेश का ट्रेडर्स ने स्वागत किया था. मगर आरबीआई ने बैंकों को आदेश दिया था कि वो नियतों के तहत ही इसे पर सारी प्रक्रिया करें जैसे कि केवाईसी, एंटी-मनी बिटकॉइन किस देश की करेंसी है? लॉन्ड्रिंग, वित्तीय आतंकवाद. साथ ही साथ ही आरबीआई ने साल 2002 के प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट का पालन करने क लिए भी कहा था.
जानिए किस अरबपति निवेशक ने कहा बिटकॉइन करेंसी नहीं, डिजिटल गोल्ड है
दुनिया में कई केंद्रीय बैंक अपनी डिजिटल करेंसी शुरू करने के बारे में सोच रहे हैं. चीन तो डिजिटल युऑन का परीक्षण भी कर रहा है.
क्रिप्टो में भरोसा रखने वाले लोगों को नोवोग्रैज के बयान से मजबूती मिली है. हालांकि, कोरोना की महामारी के दौरान केंद्रीय बैंकों के करेंसी छापने से चिंता बढ़ी है. इसके चलते मुद्रास्फीति की दर बढ़ने की आशंका है. उनका कहना है कि दुनिया में कई केंद्रीय बैंक अपनी डिजिटल करेंसी शुरू करने के बारे में सोच रहे हैं. चीन तो डिजिटल युऑन का परीक्षण भी कर रहा है.
नोवोग्रैज ने कहा, "बिटकॉइन सोने या डिजिटल सोने के रूप में बढ़ रहा है. अधिक से अधिक लोग इसे अपने पोर्टफोलियो के कुछ हिस्से के रूप में रखना चाहते हैं." पिछले सप्ताह बिटकॉइन में 13% से अधिक की वृद्धि हुई. इसके दाम पिछले हफ्ते 13 हजार डॉलर के पार पहुंच गए थे. यह तेजी करीब एक साल बाद देखने को मिली. इससे पहले तब तेजी आई थी जब पेपाल होल्डिंग्स इंक ने अपने ग्राहकों को क्रिप्टोकरेंसी का उपयोग करने की अनुमति दी थी.