रुझान 2023

रुझान 2023
ऋण बोझ घटाने का दौर थमा Business Standard - Hindi | November 17, 2022 वित्त वर्ष 2023 की पहली तिमाही में कंपनियों की आय से मिले संकेत कृष्ण कांत
कंपनियों के बहीखाते पर ऋण बोझ घटाने का चक्र अब पूरा होता दिख रहा है। मार्च 2020 में कोविड-19 वैश्विक महामारी के प्रकोप के बाद करीब दो साल तक कंपनियां अपने बहीखाते को हल्का करने पर ध्यान दे रही थीं लेकिन वित्त वर्ष 2023 की पहली छमाही के आंकड़ों से पता चलता है कि उनका रुझान 2023 रुझान अब बदल रहा है। कंपनियां अब उधारी जुटाने पर अधिक ध्यान केंद्रित कर रही हैं जिससे उनका वित्तीय अनुपात बिगड़ने लगा है।
अध्ययन में शामिल 760 कंपनियों (बैंक, वित्तीय, बीमा एवं स्टॉक ब्रोकिंग को छोड़कर) की एकीकृत सकल उधारी में वृद्धि वित्त वर्ष 2023 की पहली छमाही यानी अप्रैल से सितंबर 2022 की अवधि में 12.2 फीसदी थी। यह पिछले तीन वर्षों की सर्वाधिक वृद्धि रफ्तार है। जबकि समान अवधि में इन कंपनियों का एकीकृत परिचालन मुनाफा 0.4 फीसदी घट गया और एकीकृत शुद्ध रुझान 2023 मुनाफे में 10 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई।
वित्त वर्ष 2023 की पहली तिमाही में इन कंपनियों की एकीकृत शुद्ध हैसियत में महज 8.5 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई जो पिछले दो वर्षों की सबसे सुस्त रफ्तार है। नमूने में शामिल कंपनियों की एकीकृत सकल उधारी बढ़कर पहली छमाही के अंत में 34.23 लाख करोड़ रुपये हो गई जो इस साल मार्च के अंत में 31.4 लाख करोड़ रुपये और एक साल पहले 30.51 लाख करोड़ रुपये थी।
खुशखबरी! 2023 में सबसे ज्यादा बढ़ेगी भारतीयों की सैलरी, पढ़िए पूरी रिपोर्ट
नई दिल्लीः नौकरीपेशा लोगों को सैलरी की चिंता सताती रहती है लेकिन एक नए सर्वे के अनुसार, भारत में नौकरी कर रहे कर्मचारियों को राहत देने वाला है। वर्कफोर्स कंसल्टेंसी ईसीए इंटरनेशनल के सर्वे के अनुसार, अगले साल महंगाई के असर को घटाकर वास्तविक वेतनवृद्धि के मामले में भारत सबसे आगे हो सकता है। वहीं, पाकिस्तान को बड़ा झटका लगने वाला है। इस रिपोर्ट के अनुसार, चीन भी भारत से पीछे रहने वाला है। यूरोप को बड़ा झटका लग सकता है, यहां सैलरी नकारात्मक यानी माइनस 1.5 फीसदी रह सकती है।
ईसीए इंटरनेशनल के रीजनल डायरेक्टर ली क्वान ने कहा कि हमारा सर्वे 2023 में वैश्विक स्तर पर कर्मचारियों के लिए एक और कठिन साल का संकेत देता है। इस सर्वे के अनुसार विश्वभर के केवल एक तिहाई देशों में वास्तविक वेतन वृद्धि देखने को मिलेगा। ऐसे में विश्वभर में सबसे ज्यादा भारत में कर्मचारियों के वेतन बढ़ेंगे। रिपोर्ट्स की मानें तो इस साल भारत में 4.6 फीसदी वेतन बढ़ने का अनुमान है।
सर्वे के अनुसार, एशियाई देशों ने शीर्ष 10 देशों में से आठ में वास्तविक वेतन वृद्धि देखने को मिल रहा है। इसमें भारत में वास्तविक वेतनवद्धि 4.6 रह सकती है, जो एशिया के साथ दुनिया रुझान 2023 में भी सबसे अधिक हो सकती है। इसके अलावा वियतनाम में यह 4 फीसदी और चीन में 3.8 फीसदी की वास्तविक वेदनवृद्धि देखने को मिल सकती है।
ली क्वान के अनुसार, वेतनवृद्धि के मामले में अमेरिका में भी स्थिति अच्छी नहीं दिख रही है। अमेरिका में अगले साल 4.5 फीसदी वेतनवृद्धि होने का अनुमान है। बता दें कि अमेरिका में भी महंगाई दर लगभर 40 सालों से चरम पर है।
पाकिस्तान समेत इन देशों को झटका
साल 2000 में ECA International द्वारा इस सर्वेक्षण की शुरुआत हुई थी। इस सर्वे के अनुसार, अगले साल पाकिस्तान का नाम उन पांच देशों में शामिल हो जहां 2023 में सैलरी घटेगी। अगले साल पाकिस्तान रुझान 2023 वेतनवृद्धि में -9.9 फीसदी रहने वाली है। वहीं, श्रीलंका में भी करीब -20.5 प्रतिशत की वेतनवृद्धि होगी। सबसे खराब रिपोर्ट अर्जेंटिना का है। यहां -26.1 फीसदी वेतनवृद्धि रहने वाली है।
ब्रिटेन के कर्मचारियों को वेतन वृद्धि के मामले में इस साल सबसे बड़ा झटका लगने वाला है। वहां वेतनवृद्धि माइनस 5.6 रह सकती है। साथ ही अगले साल भी चार फीसदी गिरावट की आशंका है। ईसीए का वेतन रुझान सर्वे 68 देशों और शहरों में 360 से अधिक बहुराष्ट्रीय कंपनियों से एकत्रित जानकारी पर आधारित है।
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2023 के लिए कल्याण के रुझान
वर्तमान में, लोग चेहरे के स्वास्थ्य की आवश्यकता और लाभों के बारे में अधिक शिक्षित हैं। यह स्पा उपचार की बढ़ती संख्या, चेहरे की देखभाल की दिनचर्या के लिए आग्रह और विशेष रूप से 30 वर्ष और उससे अधिक उम्र की महिलाओं में योग अभ्यास के साथ स्पष्ट है। चेहरे के स्वास्थ्य पर शारीरिक और ऑनलाइन प्रशिक्षण या सेवाओं की पेशकश करने वाले स्टूडियो के पॉप-अप ने इस प्रवृत्ति के 2023 में जारी रहने की संभावना को सुविधाजनक बनाया है।
शरीर की प्रतिरोधक क्षमता
हम अपने शरीर को स्वस्थ रखने और अपनी प्रतिरक्षा प्रणाली को बढ़ावा देने के बारे में अधिक जागरूक हो रहे हैं क्योंकि लोग अपने जीवन की गुणवत्ता में सुधार करने और अपने जीवनकाल को बढ़ाने के लिए तरस रहे हैं। 2022 कल्याण प्रवृत्तियों से भरा रहा है जो इन्फ्रारेड सौना, लिम्फैटिक ड्रेनेज, वैकल्पिक उपचार और इंटरमिटेंट फास्टिंग जैसे स्वस्थ प्रतिरक्षा का समर्थन करता है। इन सभी के 2023 में बढ़ने की उम्मीद है क्योंकि हम लंबी उम्र को बढ़ावा देने वाली जीवनशैली की आदतों को अपनाने के तरीकों की तलाश कर रहे हैं। का बढ़ा हुआ उपयोग सीबीडी तेल और इन सप्लीमेंट्स द्वारा प्रदान किए जा सकने वाले अधिकतम स्वास्थ्य लाभों को निर्धारित करने के लिए चल रहे शोध से संकेत मिलता है कि शरीर की प्रतिरक्षा अगले साल रुझान 2023 शीर्ष रुझानों में से एक होगी।
रुझान 2023
ऋण बोझ घटाने का दौर थमा Business Standard - Hindi | November 17, 2022 वित्त वर्ष 2023 की पहली तिमाही में कंपनियों की आय से मिले संकेत कृष्ण कांत
कंपनियों के रुझान 2023 बहीखाते पर ऋण बोझ घटाने का चक्र अब पूरा होता दिख रहा है। मार्च 2020 में कोविड-19 वैश्विक महामारी के प्रकोप के बाद करीब दो साल तक कंपनियां अपने बहीखाते को हल्का करने पर ध्यान दे रही थीं लेकिन वित्त वर्ष 2023 की पहली छमाही के आंकड़ों से पता चलता है कि उनका रुझान अब बदल रहा है। कंपनियां अब उधारी जुटाने पर अधिक ध्यान केंद्रित कर रही हैं जिससे उनका वित्तीय अनुपात बिगड़ने लगा है।
अध्ययन में शामिल 760 कंपनियों (बैंक, वित्तीय, बीमा एवं स्टॉक ब्रोकिंग को छोड़कर) की एकीकृत सकल उधारी में वृद्धि वित्त वर्ष 2023 की पहली छमाही यानी अप्रैल से सितंबर 2022 की अवधि में 12.2 फीसदी थी। यह पिछले तीन वर्षों की सर्वाधिक वृद्धि रफ्तार है। जबकि समान अवधि में इन कंपनियों का एकीकृत परिचालन मुनाफा 0.4 फीसदी घट गया और एकीकृत शुद्ध मुनाफे में 10 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई।
वित्त वर्ष 2023 की पहली तिमाही में इन कंपनियों की एकीकृत शुद्ध हैसियत में महज 8.5 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई जो पिछले रुझान 2023 दो वर्षों की सबसे सुस्त रफ्तार है। नमूने में शामिल कंपनियों की एकीकृत सकल उधारी बढ़कर पहली छमाही के अंत में 34.23 लाख करोड़ रुपये हो गई जो इस साल मार्च के अंत में 31.4 लाख करोड़ रुपये और एक साल पहले 30.51 लाख करोड़ रुपये थी।