क्या आपका निवेश सुरक्षित हाथ में है?

अफ्रीका में रहने वाला अरबपति बेटा पिता की तरह महाराष्ट्र में हजारों को खिलाता है खाना
शेयर बाजार 8 घंटे पहले (04 दिसम्बर 2022 ,19:15)
अफ्रीका में रहने वाला अरबपति बेटा पिता की तरह महाराष्ट्र में हजारों को खिलाता है खाना
यवतमाल (महाराष्ट्र), 4 दिसंबर (आईएएनएस)। दशकों पहले, महाराष्ट्र राज्य रोड ट्रांसपोर्ट कॉर्पोरेशन (एमएसआरटीसी) के यवतमाल जिले में चालक अब्दुल नरसिंहनी को अपने काम के अलावा एक अजीब आदत थी। हर सुबह वह अपनी पत्नी फातिमा को कुछ रोटियां पैक करने का निर्देश देते थे, उन्हें अपनी जेब में रखते और बस में सवार होकर अपने रूट पर रवाना हो जाते और अलग-अलग स्टॉप पर वे कुछ गरीब लोगों के बीच रोटियां बांट देते थे।उनके छोटे बच्चे- बेटों अमन, असलम और बेटी फरीदा को उनकी उस आदत के बारे में पता था। उन्हें अक्सर अपने पिता की दूसरों के लिए चिंता करने पर ताज्जुब होता था, जबकि वह खुद यावतमल में 200 वर्ग फुट की एक झुग्गी में रहते थे, वह भी किराये पर ली हुई।
सालों बाद अमन की उम्र 45 और असलम की उम्र 43 हो चुकी है क्या आपका निवेश सुरक्षित हाथ में है? और वह कांगो (पूर्व में जैरे), अफ्रीका में सफल व्यवसायी हैं, और फरीदा बुधवानी मुंबई में एक गृहिणी हैं और अब वह अपने पिता की तरह ही गरीब बच्चों की मदद करते हैं।
अमन ने आईएएनएस को बताया, हम भाइयों ने उच्च माध्यमिक विद्यालय (कक्षा 12) को पूरा किया और युगांडा में नौकरी मिली, हम 1998 में वहां चले गए। सिर्फ तीन साल (2000) में हमें आस-पास के देश, कांगो में एक दवा व्यवसाय शुरू करने का प्रस्ताव मिला, और हमने इस मौके का फायदा उठाया।
यह नरसिंहनी भाइयों के लिए मोड़ था, और वह कांगो में व्यवसाय शुरू करने वाले पहले भारतीय बन गए और उनके उद्यम को सारा फार्मास्यूटिकल्स नाम दिया गया। अमन ने कहा, कई अफ्रीकियों के पास हर चीज के लिए दवाओं में पॉप करने के लिए एक बुत है..हमने भारत या चीन से विभिन्न प्रकार की दवाओं का आयात किया और फिर उन्हें वहां बेच दिया..धीरे-धीरे, छोटे व्यवसाय में 1,200 करोड़ रुपये प्रति वर्ष के कारोबार के साथ एक फार्मा-कम-इलेक्ट्रॉनिक्स साम्राज्य में वृद्धि हुई है।
अफ्रीका से घर वापस आने की अपनी लगातार यात्राओं पर, वह अपने पिता की रोज की आदत रोटियां बांटना या यह सलाह कभी नहीं भूलते कि किसी को भी दरवाजे से खाली हाथ नहीं जाने दो और इस सलाह को आगे ले जाने के लिए कुछ करने का फैसला किया।
अमन ने कहा, 2009 क्या आपका निवेश सुरक्षित हाथ में है? से हमने एक सामुदायिक रसोई लॉन्च की जो दोपहर के भोजन के लिए लगभग 750 लोगों को खिलाते हैं और लगभग 250 लोगों को रोजाना रात का खाना खिलाया जाता है..98 प्रतिशत लाभार्थी स्थानीय गरीब लोग हैं, धर्म या स्थिति के बावजूद सभी का समान रूप से स्वागत है..।
खिदमत-ए-खलक (निस्वार्थ सेवा) के माध्यम से रोजाना लोगों को अच्छी गुणवत्ता वाले चावल-शाकाहारी, सब्जी और चिकन बिरयानी और अन्य खाद्य पदाथ दिए जाते हैं, और यवतमाल में कुछ स्थानों पर पूरे साल वितरित किया जाता है। इसने कोविड-19 महामारी (2020-2021) में लॉकडाउन के दौरान लाखों वंचित लोगों के लिए सही मूल्य और उपयोगिता साबित की, विशेष रूप से प्रवासी लोग जो घर से दूर फंसे हुए थे, उन्हें खाना खिलाया।
असलम ने कहा, कड़े लॉकडाउन के पहले छह महीनों में हमने 1.50 करोड़ से अधिक लोगों को खिलाया, असहाय लोगों को जो अपनी नौकरी खो चुके थे, 2 करोड़ रुपये के लगभग 25 किलोग्राम के राशन किट वितरित किए। अक्टूबर 2020 में लॉकडाउन के बाद नरसिंहनी भाइयों ने स्थानीय श्री वासान्त्रो नाइक गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज एंड अस्पताल की ओर अपना ध्यान केंद्रित किया, जहां उन्होंने एक वर्ष से अधिक के लिए सभी रोगियों को मुफ्त भोजन परोसा।
जैसा कि मध्य अफ्रीका में फार्मा व्यवसाय फला-फूला, उन्होंने प्रगति की, अपने 200-वर्गफुट किराए के घर को बदल दिया से अपग्रेड किया। यवतमाल में 10,000 वर्ग फुट की हवेली में रहने लगे, जहां वह सबसे सम्मानित नागरिकों में गिने जाते हैं। अब्दुल नरसिंहनी, जिन्होंने अपने बच्चों को अन्य लोगों की देखभाल के लिए अमूल्य सीख दी, खुशी और गर्व के साथ सब कुछ देखा। साल 2015 में उनका निधन हो गया, जबकि 71 वर्षीय उनकी मां फातिमा ने अपने दो बेटों का मार्गदर्शन और साथ देना जारी रखा।
अफ्रीका में व्यापार करना हर किसी के लिए आसान नहीं है, वहां कई देशों में राजनीतिक उथल-पुथल को देखते हुए साथ ही सामाजिक, सांस्कृतिक और भाषा की बाधाएं हैं, लेकिन नरसिंघानी भाई केवल कुछ वर्षो में सबकुछ सीखने में कामयाब रहे और उन्हें युगांडा, कांगो और मध्य अफ्रीकी क्षेत्र के अन्य देशों में स्वीकार किया गया।
अमन ने कहा, हालांकि हमने पिछले 25 वर्षो में बहुत सारे सामाजिक-सांस्कृतिक-राजनीतिक उथल-पुथल को देखा है, लेकिन सौभाग्य से, भारतीय समुदाय को किसी भी समस्याओं का सामना नहीं करना पड़ा और हमें संभवत: बाकी लोगों के बीच समान से अधिक माना जाता है।
फार्मा व्यवसाय धीरे-धीरे अफ्रीका के भीतर विस्तारित हो गया है और हाल ही में जोड़ी ने इलेक्ट्रॉनिक्स ट्रेडिंग में विविधता की है। नरसिंगनिस स्वीकार करते हैं, हमारे माता-पिता ने हमें जो कहा है, हमें जो सिखाया है, हम अपने छोटे से तरीके से सभी चीजों को पूरा करने की कोशिश कर रहे हैं।
LIC की इस स्कीम में केवल एक बार लगाएं पैसा, जिंदगीभर मिलती रहेगी इतनी क्या आपका निवेश सुरक्षित हाथ में है? पेंशन
40 साल की उम्र के बाद हर एक शख्स को अपने भविष्य की चिंता सताने लगती है। यही वजह है कि कई लोग नौकरी के दौरान ही निवेश के बेहतर विकल्प तलाशने लगते हैं। अगर आप भी अपने भविष्य को सुरक्षित करना चाहते हैं तो भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) की सरल पेंशन स्कीम (Saral Pension Scheme) को चुन सकते हैं।
LIC Saral Pension Scheme: 40 साल की उम्र के बाद हर एक शख्स को अपने भविष्य की चिंता सताने लगती है। यही वजह है कि कई लोग नौकरी के दौरान ही निवेश के बेहतर विकल्प तलाशने लगते हैं। अगर आप भी अपने भविष्य को सुरक्षित करना चाहते हैं तो भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) की सरल पेंशन स्कीम (Saral Pension Scheme) को चुन सकते हैं। इस स्कीम में निवेश कर आप अपने भविष्य को आर्थिक रूप से मजबूत करने के साथ ही सुरक्षित कर सकते हैं।
कौन कर सकता है इस स्कीम में निवेश?
LIC की सरल पेंशन स्कीम में 40 साल से लेकर 80 साल की उम्र तक के लोग निवेश कर सकते हैं। इस स्कीम की सबसे बड़ी बात ये है कि इस स्कीम को पति-पत्नी साथ मिलकर भी ले सकते हैं। एक बार पॉलिसी लेने के बाद अगर किसी वजह से आप इसे कंटीन्यू नहीं कर पा रहे हैं तो 6 महीने के अंदर पॉलिसी को सरेंडर कर सकते हैं। अगर पॉलिसीधारक की मृत्यु हो जाती है, तो इन्वेस्ट की गई राशि नॉमिनी को वापस कर दी जाती है।
20 लाख रुपए जमा करने पर हर महीने पाएं इतनी पेंशन :
एलआईसी के फाइनेंशियल एडवाइजर अशोक रात्रे के मुताबिक, LIC की इस स्कीम को रिटायरमेंट के लिए सबसे अच्छा माना जाता है। अगर कोई शख्स 60 की उम्र में रिटायर हुआ है। ऐसे में वो चाहे तो रिटायरमेंट के दौरान मिले पीएफ फंड और ग्रैच्युटी के पैसे इस स्कीम में निवेश कर सकता है। अगर वो इस एकमुश्त निवेश से एन्युटी (Annuity) खरीदता है, तो उसे तत्काल पेंशन मिलनी शुरू हो जाएगी। उदाहरण के लिए, अगर कोई 60 साल का व्यक्ति 20 लाख रुपए की Annuity खरीदता है और मंथली ऑप्शन चुनता है तो उसे 4.92% ब्याज की दर से हर महीने 8,541 रुपए पेंशन मिलने लगेगी।
पेंशन पाने के लिए 4 ऑप्शन :
इस स्कीम में इन्वेस्टमेंट के लिए मैक्सिमम लिमिट तय नहीं की गई है। कोई भी व्यक्ति इस प्लान के तहत एक बार प्रीमियम भरने के बाद सालाना, छमाही, तिमाही या मासिक आधार का ऑप्शन ले सकता है। हालांकि, सालाना (Early) ऑप्शन चुनने पर ब्याज 5.11% मिलता है, जबकि मासिक ऑप्शन पर ब्याज दर 4.92% होती है।
पॉलिसी लिए हो गए 6 महीने तो ले सकते हैं लोन :
- LIC की सरल पेंशन स्कीम को लिए हुए अगर आपको 6 महीने पूरे हो चुके हैं तो आप इस पर लोन की सुविधा भी उठा सकते हैं।
- इसके साथ ही इस पेंशन स्कीम में आप 80 C के तहत इनकम टैक्स छूट का भी लाभ उठा सकते हैं।
- वहीं, अगर आप 6 महीने बाद पॉलिसी को सरेंडर करना चाहते हैं तो आपको 95% सरेंडर वैल्यू के साथ पैसा वापस मिल जाता है।
- अगर पॉलिसीधारक की मृत्यु हो जाती है तो उसे फुल परचेज वैल्यू (एकमुश्त जमा रकम) नॉमिनी को दे दी जाती है।
Cryptocurrency : क्रिप्टो एक्सचेंज और क्रिप्टो वॉलेट में क्या फर्क होता है, यहां समझें
क्रिप्टो एक्सचेंज पर ही क्रिप्टो ट्रे़डिंग होती है. एक्सचेंज पर आप अपनी क्रिप्टोकरेंसी स्टोर भी कर सकते हैं. वहीं, वॉलेट ऐसा माध्यम होता है जहां आप अपना ऐसा निवेश, जिसे आप ज्यादा सक्रियता के साथ इस्तेमाल नहीं करेंगे, उसे ज्यादा सुरक्षित तरीके से रख सकते हैं.
Cryptocurrency Trading : क्रिप्टो के सफर में क्रिप्टो एक्सचेंज और क्रिप्टो वॉलेट अहम फैक्टर हैं. (प्रतीकात्मक तस्वीर)
क्रिप्टो वॉलेट और क्रिप्टो एक्सचेंज (Crytptocurrency exchange and crypto wallet) में क्या फर्क होता है? ये दोनों ही टूल्स क्रिप्टोकरेंसी की ट्रेडिंग के लिए अहम हैं. लेकिन इन दोनों का ही काम एक दूसरे से काफी अलग-अलग होता है. ये दोनों ही क्रिप्टो इकोसिस्टम के अहम लेकिन अलग-अलग हिस्सा है. हम इस आर्टिकल में आपको बता रहे हैं कि ये दोनों चीजें क्या हैं और इनमें क्या फर्क है. और आप यह भी सीखेंगे कि क्यों आपको क्रिप्टो एक्सचेंज की जरूरत पड़ती है और क्यों क्रिप्टो के सफर में आपको क्रिप्टो वॉलेट की जरूरत पड़ेगी.
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बिटकॉइन और ईथर जैसी क्रिप्टोकरेंसी माइनिंग के जरिए जेनरेट किया जाता है. माइनिंग का मतलब नई डिजिटल कॉइन्स जेनरेट करने यानी पैदा करने से होता है. और ये काम बहुत ही उत्कृष्ट कंप्यूटर्स में जटिल क्रिप्टोग्राफिक इक्वेशन्स यानी समीकरणों को हल करके किया जाता है. इक्वेशन सॉल्व करने के बाद रिवॉर्ड के तौर पर यूजर को कॉइन्स मिलते हैं, यहां से इसे या तो किसी बायर को सीधे बेच दिया जाता है या फिर एक्स्चेंज पर इसकी ट्रेडिंग होती है. लेकिन एक निवेशक पहले से मौजूद कॉइन्स और टोकन्स को ही बस खरीदता और बेचता है.
क्रिप्टो एक्सचेंज पर ही क्रिप्टो ट्रे़डिंग होती है. एक्सचेंज पर आप अपनी क्रिप्टोकरेंसी स्टोर भी कर सकते हैं. वहीं, वॉलेट ऐसा माध्यम होता है जहां आप अपना ऐसा निवेश, जिसे आप ज्यादा सक्रियता के साथ इस्तेमाल नहीं करेंगे, उसे ज्यादा सुरक्षित तरीके से रख सकते हैं. यह भी बता दें कि अधिकतर बड़े एक्सचेंज अपना खुद का वॉलेट चलाते हैं.
क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज क्या होता है?
क्रिप्टो एक्सचेंज ऐसा प्लेटफॉर्म होता है, जहां आप बिटकॉइन, ईथर और डॉजकॉइन सहित दूसरी क्रिप्टोकरेंसी और क्रिप्टो टोकन्स को ज्यादा स्थिर कीमतों और ज्यादा सिक्योरिटी के साथ खरीद और बेच सकते हैं. एक क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज किसी ब्रोकरेज फर्म की तरह काम करता है, यानी यह बायर और सेलर के बीच का माध्यम होता है. किसी एक्सचेंज के हिसाब से निवेशक पेमेंट के किसी भी माध्यम जैसे डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर, कार्ड ट्रांजैक्शन, यूपीआई वगैरह से इसपर अपना पैसा डिपॉजिट कर सकते हैं, जिसे वहां से क्रिप्टो कॉइन या टोकन खरीदने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है.
एक्सचेंज पर में क्रिप्टो को दूसरे किसी असेट (यानी या तो कोई दूसरा क्रिप्टो कॉइन या टोकन, या फिर फ्लैट करेंसी यानी रुपया, डॉलर वगैरह) की खरीद-बिक्री के लिए इस्तेमाल किया जाता है. इसके अलावा, एक्सचेंज पर आप अपने क्रिप्टो कॉइन्स या टोकन्स को फ्लैट करेंसी में भी कन्वर्ट करा सकते हैं.
अगर एक्सचेंज का इस्तेमाल किए बिना अगर आपको क्रिप्टोकॉइन खरीदनी है, तो आपको कोई सेलर ढूंढना होगा. फिर आप दोनों को एक्सचेंज रेट पर मोलभाव करना होगा, इसके बाद कॉइन खरीदकर इसे अपने क्रिप्टो वॉलेट में भेजना होगा.
क्रिप्टो वॉलेट क्या होता है?
क्रिप्टो वॉलेट बेसिकली एक सॉफ्टवेयर प्रोग्राम होता है, जिसमें आप क्रिप्टो कॉइन्स स्टोर करते हैं. मान लीजिए कि आपने बिटकॉइन खरीदे, चूंकि ये ऑनलाइन करेंसी है, आप इसे हाथ में लेकर नहीं छू सकते हैं, तो इसे स्टोर करने के लिए भी आपको एक ऑनलाइन माध्यम चाहिए. क्रिप्टो वॉलेट का काम यही होता है. क्रिप्टो वॉलेट में प्राइवेट keys होती हैं, जो ट्रांजैक्शन करने के लिए इस्तेमाल होती हैं. ये कीज़ एक तरीके से सीक्रेट कोड होती हैं, जो आपको अपनी कॉइन्स खर्च करने के लिए डालनी पड़ती हैं.
ये प्राइवेट कीज़ बहुत ही ज्यादा अहम होती हैं, क्योंकि अगर किसी हैकर ने आपके फोन में मालवेयर के जरिए आपकी कीज़ हैक कर लीं तो वो आपके सारे कॉइन्स चुरा सकता है. वहीं, अगर आपने अपनी कीज़ खो दीं तो आप अपने वॉलेट का एक्सेस हमेशा के लिए खो देंगे. वॉलेट्स तीन तरह के होते हैं- हॉट, कोल्ड और पेपर वॉलेट. हमारे पास क्रिप्टो वॉलेट पर पूरा एक आर्टिकल है, जिसमें आपको क्रिप्टो वॉलेट के प्रकार, इनके काम और इनकी सुरक्षा वगैरह को लेकर पूरी डिटेल मिलेंगी. आप यहां क्लिक करके यह आर्टिकल पढ़ सकते हैं.
ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट-2023 को लेकर निवेशकों में दिख रहा उत्साह, यूपी में निवेश के लिए 1.68 लाख करोड़ के आए प्रस्ताव
लखनऊ: उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने फरवरी में होने वाले ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट-2023 (जीआईएस-23) में 10 लाख करोड़ के निवेश का लक्ष्य रखा है। अभी जीआईएस-23 को आयोजित होने में दो माह से ज्यादा का वक्त है और सरकार के पोर्टल निवेश सारथी के माध्यम से उसे 30 नवंबर तक 1.68 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हो चुके हैं। महत्वपूर्ण बात यह है कि इससे पहले 1.25 लाख करोड़ रुपये के एमओयू साइन किए जा चुके हैं। इन एमओयू के जरिए 5.5 लाख से ज्यादा रोजगार के अवसर पैदा होने की संभावना है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की देश को पांच ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने की मंशा के अनुरूप उत्तर प्रदेश को वन ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने का लक्ष्य तय किया है। इसकी पूर्ति के लिए अगले साल 10 से 12 फरवरी के मध्य राजधानी लखनऊ में ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट का आयोजन किया जा रहा है।
निवेश सारथी डैशबोर्ड के अनुसार पोटर्ल के जरिए निवेशकों के साथ कुल 148 एमओयू अब तक साइन किए जा चुके हैं। इन 148 एमओयू के जरिए सरकार को कुल एक लाख 25 हजार 885 करोड़ के प्रस्ताव प्राप्त हुए हैं। इन एमओयू के जरिए होने वाले निवेश से उत्तर प्रदेश में पांच लाख 63 हजार 496 नौकरियों के सृजन की संभावना है। इन एमओयू से इतर, पोर्टल के जरिए अब भी 315 निवेश के प्रस्ताव ऐसे हैं जो अभी एमओयू की प्रक्रिया में आगे बढ़ रहे हैं। अगर इनके साथ भी एमओयू की प्रक्रिया पूरी होती है तो उत्तर प्रदेश में बड़ी संख्या में युवाओं के लिए नौकरी के अवसर सामने आएंगे।
पोर्टल पर 30 नवंबर तक निवेशकों की ओर से कुल 472 इंटेंट प्राप्त किए गए हैं। इन इंटेंट का प्रस्तावित निवेश एक लाख 68 हजार 759 लाख से भी ज्यादा का है। यदि ये सभी इंटेंट एमओयू और निवेश में तब्दील हो जाएं तो इनसे छह लाख 79 हजार 338 नौकरियों का सृजन संभव है।
इस बार की ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट पूर्व की इन्वेस्टर्स समिट से कुछ अलग है। हर बार निवेशक खुद ही सरकार को एप्रोच करता है, लेकिन इस बार सरकार स्वयं निवेशकों को एप्रोच कर रही है और उन्हें उत्तर प्रदेश में निवेश लायक परिस्थितियों से रूबरू करा रही है। इसके लिए सरकार की ओर से निवेश सारथी के नाम से एक पोर्टल की शुरुआत की गई है। इस पोर्टल के जरिए ही निवेशक प्रदेश में निवेश का अपना इंटेंट दाखिल कर रहे हैं और यहां संबंधित विभाग से जुड़े नोडल अधिकारी उन्हें क्या आपका निवेश सुरक्षित हाथ में है? व्यापार और निवेश से जुड़ी सभी जानकारियां उपलब्ध करा रहे हैं। नोडल अधिकारी इंटेंट फाइल करने वाले निवेशकों का फॉलो-अप भी कर रहे हैं। उन्हें एमओयू तक ले जाने का प्रयास किया जा रहा है। सरकार की इस बदली हुई एप्रोच का ही नतीजा है कि आधिकारिक रूप से लांच होने से पहले ही इस पोर्टल पर सरकार को सवा लाख करोड़ से ज्यादा के निवेश प्रस्ताव मिल गए थे। उम्मीद की जा रही है कि सरकार ने जो लक्ष्य तय किए हैं, जीआईएस-23 की शुरुआत तक सरकार उसके काफी करीब पहुंच जाएगी।
सरकार के प्रवक्ता ने बताया कि निवेश सारथी के साथ ही एक अन्य पोर्टल निवेश मित्र भी महत्वपूर्ण भूमिका में होगा। यह पोर्टल निवेशकों के इंसेटिव्स को ऑनलाइन ही प्रोसेस कर देगा। निवेशकों को इंसेटिव्स के लिए दफ्तरों के चक्कर नहीं लगाने होंगे। इसके लिए सरकार ने पोर्टल पर ऑनलाइन इंसेंटिव्स मैनेजमेंट सिस्टम (ओआईएमएस) की शुरुआत की है। इसके जरिए इंसेंटिव्स की प्रक्रिया, स्वीकृति एवं भुगतान किया जाएगा। पोर्टल को इस तरह विकसित किया गया है कि यह स्वतः व्यापार की प्रवृत्ति को समझकर संबंधित विभाग की नीति के तहत मिलने वाले इंसेंटिव्स को अप्लाई करने का अवसर देगा। पोर्टल यह भी सुनिश्चित करेगा कि संबंधित विभाग में इंसेंटिव की प्रक्रिया का ऑनलाइन निस्तारण हो और प्रत्येक स्तर पर निवेशक इसके स्टेटस को ट्रैक कर सके।
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